प्रश्न - . भू ० प्र ० समिति के कार्यों एवं उत्तरदायित्वों का वर्णन कीजिए?
उत्तर- लेखपाल भूमि प्रबन्धक समिति का मन्त्री होता है । गाँव का वह मन्त्री नहीं होता गाँवसभा का पंचायत सेवक होता है । भूमि के प्रबन्ध सम्बन्धी सभी मामलों में वह प्रधान को मन्त्रणा देता है तथा उसके आदेशों के अधीन कार्य करता । प्रस्ताव भूमि के प्रबन्ध विषयक वही लिखता है तथा अध्यक्ष को आवश्यकता पड़ने पर भूमि अभिलेखों के उद्धरण शुल्क देता है । गाँव सभा हेतु रजिस्टर मुकदमात तीन भागों - माल , फौजदारी व दीवानी , वादों के सम्बन्ध में रखता है । मामलों के अन्तिम निर्णयों के सारांश उसमें अंकित करता है तथा गाँव सभा के सम्पत्ति रजिस्टर नं ० 1 से लेकर 6 खर्चा रजिस्टर का वह संधारण करता है । प्रतिवर्ष के इन्दराज पूरे करके प्रधान के हस्ताक्षर कराता है ।
भूमि प्रबन्धक समिति के कार्य एवं उत्तरदायित्व निम्नांकित हैं
1. गाँव सभा की सम्पत्ति का प्रबन्ध व रख - रखाव , मुकदमेबाजी का सचालन करना ।
2. भूमि का कृषि हेतु आवण्टन ।
3. नियत की गयी भूमि का आबादी स्थल हेतु आवण्टन ।
4. गाँव सभा के पेड़ों की बिक्री तथा प्राप्त धन गाँव कोष में जमा
5. हाट , बाजार और मेलों का प्रबन्ध ।
6. ताल , पोखरे , मीनाशयो एवं जल प्रणालियों का प्रबन्ध ।
7. उतराई के घाटों का प्रबन्ध जो गाँव सभा में निहित हुए हो ।
8. भूमि पबन्धक समिति द्वारा खातेदारों की जोतों के निगरानी यथा भूमि को 2 या 3 वर्ष से अधिक कृषि वर्ष तक बंजर पड़ी छोड़ने के सम्बन्ध में कार्यवाही ।
9 भूमि के अनधिकृत हस्तान्तरण की रिपोर्ट करके उस भूमि को गाँव सभा में निहित करना ।
10. बागो तथा अन्य वृक्षों के निपातन पर प्रतिबन्ध
11. किसी खातेदार की मृत्यु तथा उसके
उत्तराधिकारियों के नाम के आदेश कराने हेतु सत्यापन में सहायता ( पैरा 95 ) |
12. भूलेख निरीक्षक के गाँव में पड़ताल हेतु आने पर उसके आगमन की सूचना पाने पर वह तथा खातेदार उपस्थित रहें एवं प्रोग्राम का गाँव में प्रचार करना ( पैरा 96 ) |
13. भूमि अभिलेखों के रखे जाने तथा भूमि सुधार कार्यों को लागू करने में सहायता करना ( पैरा 99 ) |
14. यदि भूमि प्रबन्धक समिति को मालगुजारी की वसूली का कार्य सौपा हुआ हो तो वसूली करना व हिसाब - किताब तैयार करना ( पैरा 137 से 153 ) ।
15. भू ० प्र ० समिति के रजिस्टरों का रख - रखाव ।
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